
पंजाब में एसिड अटैक पीड़ितों के लिए एक महत्वपूर्ण कदम उठाया गया है। सामाजिक सुरक्षा, महिला एवं बाल विकास मंत्री डॉ. बलजीत कौर ने घोषणा की है कि राज्य सरकार ने एसिड अटैक पीड़ितों के लिए एक नई वित्तीय सहायता योजना-2024 शुरू की है। इस योजना की सबसे खास बात यह है कि अब यह केवल महिलाओं तक सीमित नहीं रहेगी, बल्कि पुरुष और ट्रांसजेंडर पीड़ित भी इसका लाभ उठा सकेंगे।
एसिड अटैक पीड़ितों के लिए वित्तीय सहायता बढ़ाई गई
पंजाब सरकार ने 2017 में शुरू की गई योजना के तहत एसिड अटैक पीड़ितों को 8,000 रुपये प्रति माह की सहायता प्रदान की थी, लेकिन अब इसे बढ़ाकर 10,000 रुपये कर दिया गया है। यह आर्थिक सहायता पीड़ितों को जीवनयापन के लिए स्थिरता प्रदान करेगी और उन्हें आत्मनिर्भर बनने में मदद करेगी।
पंजाब एसिड अटैक पीड़ित वित्तीय सहायता योजना-2024
इस योजना को पहले पंजाब एसिड अटैक पीड़ित वित्तीय सहायता योजना-2017 के नाम से जाना जाता था। सरकार ने इसे संशोधित कर नए स्वरूप में लागू किया है, जिससे यह अधिक समावेशी और न्यायसंगत हो सके। 20 जून, 2017 को शुरू हुई इस योजना में पहले केवल महिला पीड़ितों को शामिल किया गया था, लेकिन अब लिंग-निरपेक्ष दृष्टिकोण अपनाते हुए पुरुष और ट्रांसजेंडर पीड़ितों को भी इसका लाभ देने का निर्णय लिया गया है।
सरकार की सामाजिक न्याय और समानता की पहल
कैबिनेट मंत्री डॉ. बलजीत कौर ने इस महत्वपूर्ण निर्णय के लिए पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान और उनकी पूरी कैबिनेट का धन्यवाद किया। उन्होंने कहा कि यह फैसला समाज में समानता और न्याय के प्रति सरकार की प्रतिबद्धता को दर्शाता है।
एसिड अटैक पीड़ितों को वित्तीय सहायता प्रदान करना सरकार की एक सकारात्मक पहल है, जिससे पीड़ितों का जीवन आसान होगा और वे आत्मनिर्भरता की ओर बढ़ सकेंगे। यह सहायता पीड़ितों को चिकित्सा खर्चों, पुनर्वास और रोजगार के अवसरों में सहयोग प्रदान करेगी।
एसिड अटैक पीड़ितों के लिए नई उम्मीद
इस योजना के तहत एसिड अटैक से प्रभावित व्यक्तियों को एक नई आशा और आत्मनिर्भरता मिलेगी। वित्तीय सहायता के साथ-साथ सरकार समाज में पीड़ितों की पुनःस्थापना के लिए भी कदम उठा रही है। यह निर्णय न केवल आर्थिक सहायता प्रदान करता है, बल्कि यह पीड़ितों को सम्मानपूर्वक जीवन जीने के लिए भी प्रेरित करता है।